कोरोना से लड़ने के लिए रूसी वैक्सीन स्पुतनिक वी 94 फीसदी तक कारगर है. स्पुतनिक वी वैक्सीन की लगभग हर देश में मांग हैं. वैक्सीन निर्माता कंपनी अपनी क्षमता को दोगुना करने जा रहीं हैं. रूसी वैक्सीन कंपनी ने वैक्सीन के अधिक निर्माण के लिए 14 देशों की दवा बनाने वाली कंपनियों के साथ दवा बनाने के लिए उत्पादन साझेदारी की है और इसके अतिरिक्त कंपनी सितंबर में अपनी क्षमता को दोगुना कर देगी.
स्पुतनिक वी टीम ने पुष्टि की है कि वैक्सीन उत्पादन क्षमता को बड़े पैमाने पर बढ़ाने की वजह से वैक्सीन देने में देरी हुई है उसे अगस्त तक पूरी तरह से हल कर दिया जाएगा. गौरतलब है कि विश्वभर में कोरोना के मामले थम नहीं रहे है, टीकों की कमी की वजह से कई देशों में टीकाकरण अभियान की रफ्तार कम हो गई है. ऐसे में यह खबर वैक्सीनेशनल की रफ़्तार को और तेज कर देगा, और साथ-साथ विश्वभर में उपलब्ध वैक्सीन की संख्या भी बढ़ जाएगी.
विश्वभर में स्पुतनिक वी वैक्सीन को टीकाकरण अभियान में इस्तेमाल किया जा रहा है. इस वैक्सीन को कई देशों ने इमरजेसी इस्तेमाल के लिए मंजूरी दी हुई है. भारत में इस समय कोरोना से बचाव की लिए चार वैक्सीन उपलब्ध हैं. भारत बायोटेक की कोवैक्सीन, रूस की स्पुतनिक वी, मॉडर्ना और सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ़ इंडिया और ऑक्सफ़ोर्ड-एस्ट्राज़ेनेका की मदद से बनी कोविशील्ड.